डीडीसी का फुल फॉर्म क्या होता है (DDC Full Form in Hindi)? यह सवाल आपके मन में कभी ना कभी जरूर आया होगा और आपने इसके लिए गूगल जैसे प्लेटफार्म पर सर्च भी किया होगा, लेकिन क्या आपको सही परिणाम नहीं मिल पा रहे हैं?
तो आज आप बिल्कुल सही जगह पर पहुँच चुके हैं क्योंकि हम आपके लिए डीडीसी (DDC) से जुड़ी संपूर्ण जानकारी लेकर प्रस्तुत हुए है। ऐसे बहुत से लोग हैं जो डीडीसी के बारे में कुछ नहीं जानते, इसलिए इस पोस्ट को आखिर तक पढ़ने के बाद आपको डीडीसी के बारे में सब कुछ पता चल जाएगा।
यहां आप जानेंगे कि डीडीसी फुल फॉर्म इन हिंदी क्या है (DDC Full Form in Hindi)? डीडीसी क्या होता है? DDC का चुनाव कैसे होता है? आदि।
तो चलिए बिना किसी देरी से शुरु करते हैं आज का यह पोस्ट और सबसे पहले जानते हैं कि डीडीसी का फुल फॉर्म क्या होता है (What is DDC Full Form in Hindi).
DDC Full Form in Hindi (डीडीसी का फुल फॉर्म क्या है?)
अगर आप डीडीसी (DDC) के बारे में पढ़ने आए हैं तो आपको सबसे पहले यह जानना चाहिए कि डीडीसी का फुल फॉर्म क्या होता है क्योंकि इसका फुल फॉर्म जान लेने के बाद आपको थोड़ा बहुत आईडिया हो जाएगा कि डीडीसी (DDC) किस क्षेत्र से संबंधित है और यह क्या होता है।
डीडीसी (DDC) का फुल फॉर्म डिस्टिक डेवलपमेंट काउंसिल (District Development Council) होता है, जिसे हिंदी में जिला विकास परिषद कहा जाता है।
D: District (ज़िला)
D: Development) (विकास)
C: Council (परिषद)
जिला विकास परिषद के बारे में आप अखबारों और टीवी चैनलों में जरूर सुनते होंगे वहीं आज इसके बारे में जानना इसलिए भी जरूरी है क्योंकि हमारे देश में इसे लेकर कुछ बदलाव भी किये गए है। अक्सर हमारे देश में कुछ नए नियम लागू किए जाते हैं जिसकी संपूर्ण जानकारी हर एक भारतीय नागरिक को होनी चाहिए।
डीडीसी के बारे में आगे जाने के लिए इस पोस्ट को आखिर तक जरूर पढ़े। आइये अब हम आपको बताते है कि DDC क्या है।
DDC क्या है?
DDC के फुल फॉर्म से आप समझ गए होंगे कि इसका मतलब जिला विकास परिषद होता है जो कि ये ज़िला के विकास के लिए गठित किया जाता है। अक्टूबर 2020 मे निर्मित जिला विकास परिषद एक लोकल सरकार की तरह है जो DPC (डिस्टिक प्लैनिंग कमिटी) और काउंसिल में होने वाले चुनावों में अपने उम्मीदवारों को रिप्रेजेंट करता है।
यह केवल भारत में केंद्र शासित प्रदेश में ही गठन किया जाने वाला ऐसा संगठन है जो लोकल सरकार की तरह कार्य करती है। यह मुख्य रूप से जम्मू कश्मीर राज्य के द्वारा चयनित होती है और इसके चुनाव की पूरी प्रक्रिया हम आपको आगे बताने वाले है।
DDC का काम जिले की योजनाओं पर होने वाले खर्चों को तैयार करना होता है जिससे जिले का विकास सही तरीके से किया जा सके। इस संगठन को जम्मू और कश्मीर के पंचायती राज एक्ट 1989 के अंतर्गत फैसिलिटी प्राप्त करने के लिए गठित किया जाता है।
इसके अंतर्गत 14 मेम्बर का चयन किया जाता है जो मिलकर District Planning Committee का निर्माण करते है। सभी जिलों से एक सदस्य का चुनाव किया जाता है ताकि हर जिले का विकास सही तरीके से किया जा सके।
इसे जम्मू कश्मीर पंचायती राज्य कानून 1989 के अंतर्गत केंद्र शासित प्रदेश में गठित किया जाता है जो हर राज्य के अंतर्गत किया जाता है जहां हर जिले से निश्चित रूप से मेम्बर चुने जाते है लेकिन इसके अंतर्गत नगर पालिका और नगर पंचायत को शामिल नहीं किया जाता।
इसके कार्य की संपूर्ण जानकारी यहां आपको मिलने वाली है। साथ ही आपको यह भी पता चलेगा कि इसके चुनाव का उद्देश्य क्या होता है तो चलिए सबसे पहले इसके कार्य पर एक नजर डालते हैं।
DDC के कार्य?
यदि आप डीडीसी (DDC) के बारे में संपूर्ण जानकारी प्राप्त करने के लिए इसके कार्यों के बारे में जानना चाहते हैं तो सबसे पहले आपको यह पता होना चाहिए कि डीडीसी (DDC) का कार्यकाल सिर्फ 5 साल का होता है और इसके अंतर्गत प्रमुख रूप से पांच समितियां शामिल होती है जो कुछ इस प्रकार है:-
- स्वास्थ
- वित्त
- विकास
- सार्वजनिक विकास
- शिक्षा
इन 5 समिति के साथ कार्य करके विकास कार्य में सहयोग करना ही संगठन का मुख्य कार्य है।
जब बात आती है DDC के मुख्य कार्य की तो इसके द्वारा बहुत सारे महत्वपूर्ण कार्य किये जाते है जैसे कि:-
- DDC अर्थात ज़िला विकास परिषद का मुख्य कार्य अपने जिले में विकास कार्यो में अपना योगदान करना है, जिसमे यह संगठन अपने अंतर्गत शामिल होने वाले सभी समिति का कार्यभाल संभालती है।
- DDC का कार्य स्वास्थ्य, वित्त ,विकास सार्वजानिक विकास और शिक्षा, इन 5 समिति का विकास करना होता है।
- विकास के पथ पर जिले को अग्रसर करना और समितियों के साथ समनवय करना ही इस संगठन का प्रमुख कार्य होता है।
- DDC का कार्य ये भी है कि केंद्र शासित प्रदेश में विकास कार्यों में देरी और कमी न हो पाये, इसका ख्याल रखा जाए।
- सभी समिति के साथ मिलकर उस राज्य का सहयोग करना DDC का काम है।
- DDC का कार्य सरकार से मिलने वाले फंड का इस्तेमाल ज़िला विकास में लगाना है।
- ग्राम पंचायत और ब्लॉक के विकास के लिए सुपरवाइजर का काम भी DDC करती है।
डीडीसी का निर्वाचन कैसे होता है?
DDC का निर्वाचन कुछ अलग प्रक्रिया से होता है अर्थात इसकी प्रक्रिया सामान्य चुनाव प्रक्रिया जैसी नहीं होती। इस चुनाव में खंड विकास अध्यक्ष और जिले से निर्वाचित सदस्य चुनाव में मतदान करते है और इसके बाद ही DDC (ज़िला विकास परिषद) का चयन किया जाता है।
DDC का निर्वाचन केंद्र शासित प्रदेश में ही किया जाता है जहां प्रत्येक जिले से मेम्बर चुने जाते है जिससे DPC का निर्माण होता है।
जैसा कि हमने पहले आपको बताया है कि इनका कार्यकाल 5 साल का होता है और हर 5 साल बाद जिलों के सदस्यो द्वारा DDC का संगठन किया जाता है।
जिले के विकास के लिए बनाया गया यह संगठन बहुत ही अहम भूमिका निभाता है और अपनी 5 समितियों के साथ मिलकर अपने कार्यकाल तक जिले के विकास के लिए सही कदम उठाता है।
DDC से जुड़े सवाल जवाब (FAQS)
डीडीसी का क्या मतलब होता है?
डीडीसी का मतलब District Development Council होता है, जिसे हिंदी भाषा में जिला विकास परिषद कहते हैं।
डीडीसी अधिकारी क्या है?
डीडीसी अधिकारी का फुल फॉर्म Deputy Development Commissioner होता है।
निष्कर्ष – DDC Meaning in Hindi
दोस्तों, इस पोस्ट में हमने आपको DDC full form in Hindi, DDC ka full form, DDC in Hindi क्या है, डीडीसी के कार्य और इसका निर्वाचन कैसे होता है इसकी पूरी जानकारी दी है। उम्मीद करते हैं यह पोस्ट आपको पसंद आई होगी और इससे आपको काफी मदद भी मिली होगी।
अगर आपका कोई सवाल है तो आप कमेंट बॉक्स में पोस्च सकते हैं, हम जल्द से जल्द आपके कमेंट का जवाब देने की कोशिश करेंगे। बाकी आप इस पोस्ट को सोशल मीडिया के ज़रिये लोगो का सोशल जरुर करें जिससे उन्हें भी डीडीसी की जानकारी मिल सके।
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